संसार की हर औरत में, स्नेही ममता दिखती है। संसार की हर औरत में, स्नेही ममता दिखती है।
स्वरों की लय से परिपूर्ण संगीत की देवी दीदी लता थी स्वरों की लय से परिपूर्ण संगीत की देवी दीदी लता थी
कोई कहता दीदी तो कोई ताई स्वर ऐसी जिन्होंने पाई। कोई कहता दीदी तो कोई ताई स्वर ऐसी जिन्होंने पाई।
ना चाहते हुए भी स्वीकारते हैं आँखों में पानी भर आँसू पी लेते हैं ना चाहते हुए भी स्वीकारते हैं आँखों में पानी भर आँसू पी लेते हैं
छुड़ा दो कैद से मेरा मन चमन, गूंजेगी तभी धुन, बजेंगे सरगम। छुड़ा दो कैद से मेरा मन चमन, गूंजेगी तभी धुन, बजेंगे सरगम।
संघर्षों में निखरती रही दुश्वारियों को हराती रहीं। संघर्षों में निखरती रही दुश्वारियों को हराती रहीं।